Today History

मदर टेरेसा (Mother Teresa) को जितने पुरस्कार, धनराशियां अथवा जो भी सहायता प्राप्त हुई, वह सब दीन-दुखियों की सेवा कार्य के लिए ही उपयोग में लाई गईं। मदर उसमें से निजी उपयोग के लिए कुछ भी नहीं रखीं।

मदर टेरेसा (Mother Teresa) को जितने पुरस्कार, धनराशियां अथवा जो भी सहायता प्राप्त हुई, वह सब दीन-दुखियों की सेवा कार्य के लिए ही उपयोग में लाई गईं। मदर उसमें से निजी उपयोग के लिए कुछ भी नहीं रखीं।

Today History: मदर टेरेसा (Mother Teresa) ने राजनीतिक अथवा औद्योगिक रूप से लोगों की समस्या और कष्ट दूर करने की बजाय उनके शारीरिक और मानसिक कष्टों को दूर करना प्रथम कर्तव्य समझा।

हरिभाऊ जी (Haribhau Upadhyaya) राजनीति में भी सक्रिय रहे। नमक सत्याग्रह और बाद के आंदोलनों में गिरफ्तार हुए। स्वतंत्रता के बाद अजमेर राज्य के मुख्यमंत्री रहने के उपरांत राजस्थान बन जाने पर वे 10 वर्षों तक विभिन्न विभागों के मंत्री रहे।

Today History: गांधीवादी विचारक, साहित्यकार, पत्रकार और राजनेता हरिभाऊ उपाध्याय (Haribhau Upadhyaya) का जन्म 9 मार्च, 1892 को मध्य प्रदेश के ग्वालियर जिले में हुआ था।

अरुण जेटली (Arun Jaitley) को राज्यसभा सदस्य होने के नाते मिली नौ, अशोक रोड की कोठी बीजेपी कार्यकर्ताओं का निवास हुआ करती थी।

अरुण जेटली (Arun Jaitley) को राज्यसभा सदस्य होने के नाते मिली नौ, अशोक रोड की कोठी बीजेपी कार्यकर्ताओं का निवास हुआ करती थी।

कल्याणजी वीरजी शाह का जन्म- 30 जून, 1928, कच्छ, गुजरात में हुआ था। वो हिन्दी सिनेमा के प्रसिद्ध संगीतकार थे। वे भारतीय हिन्दी फ़िल्मों की प्रसिद्ध संगीतकार जोड़ी ‘कल्याणजी आनंदजी’ में से एक थे।

Today History: भारतीय फ़िल्मों में इलेक्ट्रॉनिक संगीत की शुरुआत करने का श्रेय कल्याणजी को ही जाता है। वर्ष 1992 में संगीत के क्षेत्र में बहुमूल्य योगदान के लिए उन्हें भारत सरकार ने ‘पद्मश्री’ से सम्मानित किया था।

नैयर (Kuldip Nayar) भारत सरकार के प्रेस सूचना अधिकारी के पद पर कई साल तक कार्य करने के बाद समाचार एजेंसी यूएनआई, पीआईबी, 'द स्टैट्समैन', 'इंडियन एक्सप्रेस' के साथ लंबे समय तक जुड़े रहे।

Today History: कुलदीप नैयर कद्दावर शख्स थे और कद्दावर पत्रकार भी। आज ऐसे पत्रकार उंगलियों पर गिने जा सकते हैं, जिनसे सत्ताधारी इस कदर घबराते हों।

बिस्मिल्लाह खान (Bismillah Khan) ऐसे पहले व्यक्ति थे जिन्होंने अकेले ही शहनाई को प्रसिद्धि दिलाई। 1937 में उन्होंने जब कोलकाता में हुए अखिल भारतीय संगीत सम्मेलन में शहनाई वादन किया, तो उनकी इस कला को लोगों ने अत्यंत पसंद किया।

बिस्मिल्लाह खान (Bismillah Khan) ऐसे पहले व्यक्ति थे जिन्होंने अकेले ही शहनाई को प्रसिद्धि दिलाई। 1937 में उन्होंने जब कोलकाता में हुए अखिल भारतीय संगीत सम्मेलन में शहनाई वादन किया, तो उनकी इस कला को लोगों ने अत्यंत पसंद किया।

Today History: 15 अगस्त, 1947 को प्रधानमंत्री पंडित नेहरू ने तिरंगा फहराया, भाषण दिया और उसके बाद शुरू हुआ उस्ताद बिस्मिल्लाह खान (Bismillah Khan) का शहनाई वादन। उस वक्त उनकी उम्र करीब 30 साल थी।

प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या के बाद देश की डांवांडोल होती राजनीतिक परिस्थितियों को संभालने के लिए उन्हें (Rajiv Gandhi) प्रधानमंत्री बनाया गया। उस समय कई लोगों ने उन्हें नौसिखिया भी कहा, लेकिन जिस तरह से उन्होंने यह जिम्मेदारी निभाई।

Today History: 31 अक्तूबर, 1984 को प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या के बाद देश की डांवांडोल होती राजनीतिक परिस्थितियों को संभालने के लिए उन्हें (Rajiv Gandhi) प्रधानमंत्री बनाया गया।

साहित्य जगत में अपना योगदान देते हुए द्विवेदी (Hazari Prasad Dwivedi ) ने बाणभट्ट की आत्मकथा, पुनर्नवा और अनामदास का पोथा जैसे उपन्यास लिख कर अपनी एक अलग पहचान बनाई।

यह भी पढ़ें