देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) ने बुधवार को ‘आसियान डिफेंस मिनिस्टर्स मीटिंग-प्लस’ (एडीएमएम-प्लस) में वर्चुअल संबोधन में कहा कि आतंकवाद और कट्टरता दुनिया में शांति व सुरक्षा के लिए गंभीर खतरे हैं। ऐसे में इन चुनौतियों से निपटने के लिए सामूहिक दृष्टिकोण की आवश्यकता है।
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इस संबोधन में राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) ने समुद्री सुरक्षा चुनौतियों पर भारत की चिंताओं को भी जिक्र किया। साथ ही उन्होंने अहम समुद्री मार्गों में चीन के आक्रामक व्यवहार की तरफ इशारा करते हुए कहा कि दक्षिण चीन सागर में चीनी गतिविधियों ने इस तरफ ध्यान आकर्षित किया। उनके अनुसार, भारत इन अंतर्राष्ट्रीय समुद्री मार्गों में नौवहन, समुद्री क्षेत्रों पर उड़ान भरने और बेरोकटोक व्यापार की आजादी का समर्थन करता है।
गौरतलब है कि चीन दक्षिण चीन सागर पर अपना दावा जताता है जो हाइड्रोकार्बन का बड़ा स्रोत है। वियतनाम, फिलीपीन और ब्रूनेई समेत आसियान के कई सदस्य देश भी ऐसा ही दावा जताते हैं।
Addressed the 8th ASEAN Defence Ministers’ Plus Meeting (ADMM-PLUS)
today and shared India’s views and outlook on the Regional and International Security Environment. Here is the link to the text of my speech.https://t.co/RoLtfJgUwb pic.twitter.com/ndpqArmjUl— Rajnath Singh (@rajnathsingh) June 16, 2021
राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) ने देशों की क्षेत्रीय अखंडता और सम्प्रभुत्ता, संवाद के जरिए विवादों के शांतिपूर्ण समाधान व अंतर्राष्ट्रीय नियमों और कानूनों के अनुपालन के आधार पर इस क्षेत्र को मुक्त, खुला और समावेशी बनाने का आह्वान किया।
रक्षा मंत्री ने पाकिस्तान का नाम लिये बिना आतंकवाद को बढ़ावा देने, उसका समर्थन और वित्त पोषण करने और आतंकवादियों को शरण देने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का आह्वान किया। राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) के अनुसार, ‘‘आतंकवाद और कट्टरता दुनिया के सामने शांति व सुरक्षा के लिए आज सबसे गंभीर खतरा है।’’
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