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चीन (China) ने एलएसी (LAC) के पास सरफेस टू एयर मिसाइल बैटरियों को तैनात किया है। चीन की इस हरकत पर भारत (India) कड़ी नजर रखे हुए है।
चीन (China) एक बार फिर से वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर चालबाजी दिखाने लगा है। चीन ने एलएसी के पास सरफेस टू एयर मिसाइल बैटरियों को तैनात किया है। चीन की इस हरकत पर भारत कड़ी नजर रखे हुए है। न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, जारी तनाव के मद्देनजर चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) ने भारतीय सीमा के पास एचक्यू और एचक्यू 22 समेत सरफेस टू एयर मिसाइलों को तैनात कर रखा है।
HQ-9 रूसी S-300 एयर डिफेंस सिस्टम का एक रिवर्स-इंजीनियर वर्जन है और लगभग 250 किलोमीटर की दूरी पर लक्ष्य को ट्रैक और हिट कर सकता है। सूत्रों के अनुसार, ”हम चीन द्वारा तैनात अन्य रक्षा संपत्तियों के साथ ही एयर डिफेंस सिस्टम पर करीबी से नजर बनाए हुए हैं।”
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उन्होंने कहा कि हालिया रिपोर्टों से पता चलता है कि होटन और काशगर हवाई क्षेत्रों में लड़ाकू विमानों की संख्या कम हो गई है, लेकिन संख्या में समय-समय पर उतार-चढ़ाव आते रहते हैं। उन्होंने कहा कि भले ही दोनों देश पैंगोंग झील से डिस-एंगेजमेंट कर चुके हों, लेकिन दोनों पक्षों द्वारा तैनाती जारी है।
बता दें कि पिछले साल LAC पर पैदा हुए तनाव के बाद से ही भारत और चीन की सेना के बड़ी संख्या में जवान बॉर्डर पर तैनात हैं। सुगर सेक्टर, सेंट्रल सेक्टर और पूर्वोत्तर सीमाओं में संरचनाओं और सैनिकों की तैनाती को भी मजबूत किया गया है।
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सो के दक्षिणी तट पर भारतीय सामरिक अभियानों के कारण, भारतीय सेना फिंगर क्षेत्र से डिस-एंगेजमेंट करवाने में सफल रही है। वहीं, अन्य सेक्टर्स से चीनी सेना को पीछे भेजने के लिए भारत-चीन के बीच बातचीत जारी है।
गौरतलब है कि भारत (India) और चीन (China) के सैन्य कमांडरों के बीच एलएसी (LAC) पर कायम गतिरोध को खत्म करने को लेकर 9 अप्रैल को 11वें दौर की वार्ता हुई। इस सैन्य वार्ता में पूर्वी लद्दाख के हॉट स्प्रिंग, गोगरा और देपसांग जैसे गतिरोध वाले शेष हिस्सों से सैनिकों की वापसी की प्रक्रिया को जल्द आगे बढ़ाने पर जोर दिया गया था।
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बताया जा रहा है कि इस बातचीत में चीनी पक्ष ने गोगरा हाइट्स, हॉट स्प्रिंग्स, डेप्सांग और डेमचॉक के पास सीएनएन जंक्शन से डिस-एंगेजमेंट करने में अनिच्छा जताई है।
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वहीं, भारत ने भी साफ कर दिया है कि भारतीय पक्ष भी तभी पीछे हटने पर विचार करेगा, जब चीनी सेना डिस-एंगेज करने के लिए सहमत होती है। भारतीय सेना (Indian Army) और अन्य सुरक्षा बलों ने भी वास्तविक नियंत्रण रेखा के साथ लद्दाख सेक्टर और अन्य पर्वतीय क्षेत्रों में ग्रीष्मकालीन तैनाती पर वापस लौटना शुरू कर दिया है।
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