Indian Airforce

एयरफोर्स (Indian Airforce) के लड़ाकू जेट और परिवहन विमानों ने लखनऊ-आगरा एक्सप्रेसवे पर लैंडिंग का अभ्यास किया था। ऐसे हाइवे का उपयोग एयरफोर्स विमानों को आपात स्थिति में उतारने के लिए किया जा सकता है।

भारतीय वायुसेना (Indian Airforce) का ये फाइटर जेट मातसर भूर्तिया गांव के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया, जिससे प्रभाव स्थल और उसके आसपास का क्षेत्र भी तबाह हो गया।

अति आधुनिक मालवाहक ग्लोबमास्टर के अलावा सी-130 जे सुपर हरक्यूलिस विमान और आइएल-76 हेलीकाप्टर ऑक्सीजन और अन्य संसाधन जल्द से जल्द मरीजों तक पहुंचाने में लगे हुए हैं।

एयर चीफ मार्शल भदौरिया ने बताया कि हमारे पूरे इन्वेंट्री प्रबंधन को कम्प्यूटरीकृत व डिजिटाइज किया गया है और हमने पहले से ही एआई आधारित फॉर्मूलेशन पर काम करना शुरू कर दिया है।

पांच राफेल विमानों की पहली खेप 29 जुलाई 2020 को भारत पहुंचा था। इन विमानों को पिछले साल 10 सितंबर को अंबाला में एक कार्यक्रम में आधिकारिक रूप से भारतीय वायुसेना में शामिल किया गया।

ये परिणाम यूपीएससी (UPSC) की वेबसाइट पर भी उपलब्ध हैं। हालांकि, कैंडिडेट्स के प्राप्तांक अंतिम परिणामों की घोषणा की तारीख से 15 दिन बाद वेबसाइट पर उपलब्ध होंगे।

अप्रैल 2019 में भारतीय वायुसेना (Indian Airforce) ने करीब 18 अरब डॉलर की लागत से 114 विमानों की खरीद के लिए टेंडर जारी किया था, जिसे हाल के वर्षों में दुनिया की सबसे बड़ी सैन्य खरीद बताया गया था।

संयुक्त अरब अमीरात के टैंकर ने हवा में ही तीनों राफेल विमानों (Rafale Jets) में ईंधन भरने में मदद की। जिसकी वजह से इन विमानों को कहीं भी जमीन पर लैंड करने की जरूरत नहीं पड़ी।

वायुसेना (Indian Airforce) के अधिकारी के अनुसार, डिजिटल इंडिया और ई-शासन की पहल के तहत इस पोर्टल को शुरू किया गया है। यह समूचे वायुसेना को पेपरलेस ऑफिस में तब्दील कर देगा।

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