भारतीय वायुसेना के बेड़े में जुड़े 3 और राफेल विमान, पाकिस्तान और चीन को देंगे मुंहतोड़ जवाब

संयुक्त अरब अमीरात के टैंकर ने हवा में ही तीनों राफेल विमानों (Rafale Jets) में ईंधन भरने में मदद की। जिसकी वजह से इन विमानों को कहीं भी जमीन पर लैंड करने की जरूरत नहीं पड़ी।

Rafale Jets

3 Rafale Jets landed at an IAF base.

पूर्वी लद्दाख में भारत को आंखे दिखा रहे चीन के लिए एक और बुरी खबर है। क्योंकि दुनिया का सबसे खतरनाक फाइटर जेट राफेल (Rafale Jets) की तीसरी खेप भारत पहुंच चुकी है। फ्रांस से उड़ान भरने के बाद तीन राफेल बिना कहीं रूके बुधवार शाम को भारत सरजमीं पर लैंड हो गये। इन तीन विमानों से भारतीय वायुसेना की ताकत में और इजाफा हो गया है।

झारखंड- नक्सलियों के खिलाफ सरायकेला पुलिस के हाथ लगी बड़ी सफलता, दहशत फैलाने जा रहे नक्सली को धर दबोचा

इसी के साथ भारतीय वायुसेना के पास अब कुल 11 राफेल फाइटर जेट (Rafale Jets) हो गये हैं। जिसके बाद वायुसेना ने अपने ट्वीट में कहा, ‘‘तीन राफेल विमान कुछ देर पहले भारतीय वायुसेना के अड्डे पर उतरे। इन विमानों ने लगातार सात हजार किमी से अधिक की उड़ान भरी। इससे पहले फ्रांस के इस्ट्रेस एयर बेस से इन विमानों ने उड़ान भरी थी। भारतीय वायुसेना ने संयुक्त अरब अमीरात (UAE) वायुसेना की ओर से दी गयी टैंकर मदद की सराहना करती है।’’

यूएई के टैंकर ने हवा में ही तीनों राफेल विमानों (Rafale Jets) में ईंधन भरने में मदद की। जिसकी वजह से इन विमानों को कहीं भी जमीन पर लैंड करने की जरूरत नहीं पड़ी। फ्रांसीसी कंपनी दसॉल्ट एविएशन राफेल फाइटर जेट का निर्माण करती है। जिसके साथ भारत ने पहले ही मिराज जैसे भरोसेमंद फाइटर जेट का करार किया हुआ है।

गौरतलब है कि करीब चार साल पहले भारत ने 59 हजार करोड़ रुपये में 36 राफेल फाइटर जेट (Rafale Jets) को खरीदने के लिए फ्रांस के साथ समझौता किया था। जिसक के तहत फ्रांस की तरफ से 5 राफेल फाइटर जेट्स की पहली खेप 29 जुलाई, 2020 को भारत पहुंची थी। जिन्हें अंबाला एयरपोर्ट पर 10 सितंबर को 17 गोल्डन एरो स्क्वाड्रन में शामिल किया गया था। वहीं 4 नवंबर को दूसरी खेप के तहत 3 राफेल जेट्स भारत पहुंचे थे।

Hindi News के लिए हमारे साथ फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम, यूट्यूब पर जुड़ें और डाउनलोड करें Hindi News App

यह भी पढ़ें