फाइल फोटो।
India China Tension: लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन चीन के साथ बातचीत के मामले में अनुभवी रहे हैं। वह नवंबर 2018 में भी अरुणाचल प्रदेश-तिब्बत सीमा पर चीन के साथ हुई बातचीत का नेतृत्व कर चुके हैं।
लद्दाख में भारत और चीन के बीच तनाव (India China Tension) जारी है। इस तनाव को दूर करने के लिए आज भारत और चीन के अधिकारियों के बीच बातचीत होगी। इस बातचीत में भारतीय सेना के अधिकारी और लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन भी भाग ले रहे हैं। मेनन ही आज की बातचीत में सेना मुख्यालय के प्रतिनिधि हैं।
लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन, 14 कोर के लेफ्टिनेंट जनरल हरिंदर सिंह की जगह ले रहे हैं। वह अगले महीने ये जिम्मेदारी संभालेंगे। वह इस समय सेना मुख्यालय में शिकायत सलाहकार बोर्ड (सीएबी) के अतिरिक्त महानिदेशक हैं। उनकी रिपोर्टिंग सीधे सेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे को है। मेनन, सिख रेजिमेंट के कर्नल ऑफ द रेजिमेंट भी रहे हैं।
ये भी पढ़ें- Coronavirus: देश में संक्रमितों का आंकड़ा हुआ 55 लाख के करीब, 24 घंटे में आए 86,961 नए मामले
लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन चीन के साथ बातचीत के मामले में अनुभवी रहे हैं। वह नवंबर 2018 में भी अरुणाचल प्रदेश-तिब्बत सीमा पर चीन के साथ हुई बातचीत का नेतृत्व कर चुके हैं। उस दौरान वह असम मुख्यालय वाले 71 इन्फैंट्री डिवीजन के जनरल ऑफिसर कमांडिंग (जीओसी) थे।
बता दें कि आज चुशुल-मोल्दो में बातचीत होने वाली है, जिसके लिए लेफ्टिनेंट जनरल पीजीके मेनन और विदेश मंत्रालय के संयुक्त सचिव दिल्ली से लद्दाख पहुंचे हैं। इस सैन्य बातचीत के दौरान विदेश मंत्रालय के अधिकारी भी मौजूद रहेंगे।
ये भी देखें-
Hindi News के लिए हमारे साथ फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम, यूट्यूब पर जुड़ें और डाउनलोड करें Hindi News App