
शहीद सुनील यादव कानपुर के चौबेपुर कस्बे के भिडुरी गांव के रहने वाले थे।
कानपुर के रहने वाले सीआरपीएफ (CRPF) के जवान रामकिशोर उर्फ सुनील यादव जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में शहीद हो गए। लगभग दस दिन पहले ड्यूटी पर गश्ती के दौरान पहाड़ों से एक बड़ा पत्थर गिर जाने से सुनील बुरी तरह घायल हो गए थे। इसके बाद उन्हें सैनिक अस्पताल में भर्ती कराया गया था। 8 मई को उपचार के दौरान सुनील की मौत हो गई। शहीद सुनील यादव कानपुर के चौबेपुर कस्बे के भिडुरी गांव के रहने वाले थे। वे जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में तैनात थे। उनके पिता का नाम राधेश्याम था।
पिता की मौत के बाद उनके स्थान पर नौकरी मिली थी। सुनील के पिता भी फौजी थे, जिनकी बीमारी से मौत हो गई थी। सुनील के रिश्तेदार ने बताया कि सीआरपीएफ पुलवामा हेडक्वार्टर से अफसरों ने फोन पर जवान की पत्नी वंदना को घटना की जानकारी दी। सैनिक रामकिशोर उर्फ सुनील की मौत की सूचना पर पत्नी समेत मां लक्ष्मी, बहन गायत्री, छोटे भाई नंद किशोर का रो-रोकर बुरा हाल है। जवान का पार्थिव शरीर उसके घर पहुंचते ही कोहराम मच गया। सुनील और वंदना की शादी हुए सात साल हो गए हैं। दोनों की अभी कोई संतान नहीं है।
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