महाराज प्रमाणिक (Maharaja Pramanik) के साथ ही भाकपा माओवादी (CPI Maoist) ने एरिया कमेटी सदस्य बैलुन सरदार को भी पार्टी से निकाल दिया है।
नक्सली (Naxalites) किसी के सगे नहीं हो सकते, इस बात का सबूत है हाल की एक घटना। लंबे समय से पुलिस और सुरक्षाबलों के लिए सिरदर्द बने कुख्यात 10 लाख के इनामी नक्सली महाराज प्रमाणिक (Maharaja Pramanik) को भाकपा माओवादी (CPI Maoist) ने संगठन से निकाल दिया है। इसके बाद खबर है कि 10 लाख का यह खूंखार इनामी नक्सली झारखंड पुलिस के सामने सरेंडर कर सकता है।
महाराज प्रमाणिक पर संगठन विरोधी गतिविधियों में संलिप्त रहने का आरोप लगाते हुए उसे जोनल सदस्य पद से भी हटा दिया गया है। इतना ही नहीं, एरिया कमेटी सदस्य बैलून सरदार को भी संगठन से बर्खास्त किया गया है। भाकपा माओवादी दक्षिणी जोनल कमेटी के प्रवक्ता अशोक ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर इसकी जानकारी दी है।
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विज्ञप्ति में कहा गया है कि महाराज प्रमाणिक (Maharaja Pramanik) ने बीमारी का इलाज कराने के नाम पर बाहर निकलकर संगठन से गद्दारी की। सरायकेला-खरसावां जिले के ईचागढ़ थानांतर्गत दाडुदा ग्राम निवासी महाराज प्रमाणिक पर संगठन का 40 लाख रुपया, एक एके 47 रायफल, 150 गोली, एक 9 एमएम पिस्टल, मोबाइल, टैबलेट और वॉकी-टॉकी लेकर 14 अगस्त को संगठन छोड़कर भागने का आरोप लगाया गया है।
विज्ञप्ति में बताया गया है कि बीमारी का इलाज कराने का बहाना बनाकर महाराज प्रमाणिक विगत 27 मई और 22 जून को बाहर गया था। जहां उसने पुलिस और खुफिया विभाग के बड़े अफसरों से मिलकर संगठन के साथ गद्दारी की। भाकपा माओवादी संगठन ने महाराज प्रमाणिक और बैलून सरदार को जन अदालत में सजा देने का भी ऐलान किया है।
नक्सलियों की प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है कि महाराज प्रमाणिक साल 2009 में भाकपा माओवादी संगठन से जुड़ा था। करीब 2 साल बाद उसे एरिया कमेटी फिर सब जोनल सदस्य बनाया गया। 2015 में वह दक्षिणी जोनल कमेटी का सदस्य चुना गया था। उसे स्वतंत्र रूप से बुंडू, चांडिल सबजोन का इंचार्ज बनाकर कामकाज करने की जिम्मेदारी दी गई थी। लेकिन उसने संगठन के साथ गद्दारी की। हाल के दिनों में नक्सली संगठन की तरफ से इस तरह की कार्रवाइ की खबर नहीं आई थी।
महाराज प्रमाणिक के साथ ही भाकपा माओवादी ने बैलुन सरदार को भी पार्टी से निष्कासित कर दिया है। दक्षिणी जोनल कमेटी की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है कि महाराज प्रमाणिक (Maharaja Pramanik) और बैलुन सरदार पुलिस के बड़े अधिकारियों से मिलकर षडयंत्र रच रहे हैं।
जानकारी के अनुसार, महाराजा प्रमाणिक कई जिले के पुलिस के अलावा खुफिया एजेंसी से भी संपर्क में है। गौरतलब है कि कोल्हान क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले सरायकेला खरसावां, घाटशिला और चाईबासा के क्षेत्रों में 10 लाख का इनामी नक्सली महाराजा प्रमाणिक पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बना हुआ है।
महाराजा प्रमाणिक मूल रूप से सरायकेला जिला के ईचागढ़ थाना क्षेत्र के दारूदा गांव का रहने वाला है। पुलिस महाराजा प्रमाणिक और उसके दस्ते को मार गिराने के लिए जंगलों में लगातार अभियान चला रही है। लेकिन हर बार हुए मुठभेड़ में महाराजा प्रमाणिक बचकर निकलने में सफल रहता था।
इन घटनाओं में रहा है शामिल
25 मार्च, 2019: राजधानी रांची के बरियातू थाना क्षेत्र में कई जगहों पर माओवादियों के नाम से पोस्टर चिपकाए गए थे।
12 अप्रैल, 2019: पश्चिमी सिंहभूम के गोइलकेरा थाना क्षेत्र के कुइडा गांव में आईईडी विस्फोट कर वन विभाग के तीन भवनों को ध्वस्त कर दिया था।
2 मई, 2019: सरायकेला जिला के खरसावां थाना क्षेत्र में देर रात बीजेपी का चुनावी दफ्तर को उड़ाया था।
20 मई, 2019: सरायकेला जिला के खरसावां थाना के हुरंगदा जंगल में पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में तीन जवान घायल हो गए थे। इस घटना को भी महाराज प्रमाणिक के दस्ते ने अंजाम दिया गया था।
14 जून, 2019: सरायकेला जिले के तिरुलडीह थाना क्षेत्र के कुकडू हाट बाजार में पांच पुलिसकर्मियों की हत्या करने में भी महाराज प्रमाणिक शामिल था।
28 नवंबर, 2019: सरायकेला के कुचाई में पुलिस और महाराज प्रमाणिक के दस्ते के बीच मुठभेड़ हुई थी। जिसमें एक ग्रामीण को गोली लगी थी।
23 मई, 2020: महाराज प्रमाणिक के दस्ते ने सरायकेला के रायजामा गांव के मंगल सिंह सरदार और उसकी पत्नी की हत्या कर दी थी।
7 फरवरी, 2021: चाईबासा, सरायकेला खरसावां और खूंटी जिले की सीमा पर पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई। इसमें एक जवान को गोली लगी। पुलिस की यह मुठभेड़ महाराज प्रमाणिक के दस्ते से हुई थी।
4 मार्च, 2021: चाईबासा जिले के लांजी में नक्सली हमले में तीन जवान शहीद हो गए थे। इस हमले की साजिश एक करोड़ के इनामी नक्सली पतिराम मांझी ने महाराज प्रमाणिक के साथ मिलकर रची थी।