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‘वह वादे के पक्के हैं, उनका फोन जरूर आएगा’, शहीद की पत्नी को अभी भी है फोन का इंतजार

Ashwani Kumar Yadav: उत्तर प्रदेश के जवान अश्वनी कुमार यादव कुपवाड़ा में आतंकियों से लड़ते हुए शहीद हो गए।

देश की रक्षा करते हुए जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) के कुपवाड़ा (Kupwara) जिले में उत्तर प्रदेश के गाजीपुर के अश्वनी कुमार यादव (Ashwani Kumar Yadav) शहीद हो गए। अश्वनी यादव जिले के नोनहरा थानाक्षेत्र के चकदाउद उर्फ बभनौली गांव के रहने वाले थे। 4 मई की रात उनके शहादत की खबर घरवालों को मिली तो घर में कोहराम मच गया। शहीद का पूरा गांव रात भर नहीं सोया। मां और पत्नी का रो-रोकर बुरा हाल है।

‘पाप ने वादा किया था, अगली बार साइकल दिलाएंगे’: पति के शहीद होने के बाद पत्नी को अब बच्चों के भविष्य की चिंता सता रही है। पति की बातें याद कर रोते हुए कहती हैं- ‘बच्चों को डाक्टर बनाना चाहते थे।’ जम्मू-कश्मीर के हंदवाड़ा के काजियाबाद में आतंकी हमले में गाजीपुर के अश्वनी कुमार यादव के शहीद होने की खबर सुनकर उनके घर और पूरे गांव में मातम छाया हुआ है। मासूम बेटी की आंखों के आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। रोते हुए कहती है- “पाप ने वादा किया था कि अगली बार आएंगे तो साइकल दिलाएंगे।” 

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‘कैंप पहुंचकर तुम्हें फोन करते हैं’: अश्वनी (Ashwani Kumar Yadav) समय मिलने पर रोज फोन कर परिवार का हाल-चाल लेते थे। पत्नी और बच्चों से बातचीत करते थे। यह अश्वनी कुमार की रोज की दिनचर्या थी। 4 मई शाम को उनका फोन न आने पर अश्वनी की पत्नी अंशु ने पति को फोन किया था, तब उन्होंने कहा था- “आदित्य की मम्मी हमारी पेट्रोलिंग ड्यूटी खत्म हो गई है, हम साथियों के साथ कैंप जा रहे हैं। वहां पहुंचकर तुम्हें फोन करते हैं। हम लोग अभी रास्ते में हैं…” यह कहते हुए अश्वनी कुमार यादव ने फोन काट दिया। लेकिन यह अंतिम फोन था, बात क्या करनी थी वह अधूरी रह गई। 

‘वह वादे के पक्के हैं, उनका फोन जरूर आएगा’: अंशु पति के फोन का इंतजार करती रह गई। इसके बाद रात आठ बजे के करीब उनके शहीद होने का समाचार मिला तो अंशु को अपने कानों पर यकीन नहीं हुआ। वह कह रही थी- “नहीं उन्होंने मुझसे वादा किया है कि वह कैंप में पहुंच कर फोन करेंगे। वह वादे के पक्के हैं, उनका फोन जरूर आएगा।” अंशु को अब भी फोन आने का इंतजार है। शहीद अश्वनी कुमार यादव (Ashwani Kumar Yadav) जनवरी में दो महीने की छुट्टी लेकर घर आए थे। 27 फरवरी, 2020 को वे वापस जम्मू-कश्मीर ड्यूटी पर चले गए थे। अश्वनी तीन भाइयों में सबसे बड़े थे। उनके दो बच्चे 6 साल की आयशा यादव और 4 साल का आदित्य है।

आतंकी हमले में तीन जवान हुए थे शहीद: बता दें कि जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) के कुपवाड़ा (Kupwara) जिले में 4 मई को आतंकी हमले में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के 92वीं बटालियन के 3 जवान शहीद हो गए थे। जबकि दो अन्य जवान घायल हो गए। इससे एक दिन पहले जिले में आतंकवादियों (Militants) के साथ मुठभेड़ में पांच जवान शहीद हो गए थे। आतंकियों ने एक नाका पार्टी पर क्रालगुंड इलाके में गोलीबारी शुरू कर दी थी। जिसमें केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के तीन जवान मौके पर शहीद हो गए। इनमें बिहार के रहने वाले कांस्टेबल संतोष कुमार मिश्र, उत्तर प्रदेश के रहने वाले कांस्टेबल अश्विनी कुमार यादव और तमिलनाडु के रहने वाले चंद्र शेखर. सी शामिल हैं।