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YES BANK का संस्थापक राणा कपूर गिरफ्तार, 11 मार्च तक हिरासत में भेजा गया

प्रवर्तन निदेशालय की यस बैंक (YES BANK) के संस्थापक राणा कपूर के खिलाफ जांच में दो हजार करोड़ रुपए मूल्य के निवेश‚ 44 महंगी पेटिंग और एक दर्जन से कथित मुखौटा कंपनियां केंद्र में हैं। कपूर को मनी लांड्रिंग के मामले में रविवार को गिरफ्तार कर लिया गया। मुंबई की एक अदालत ने उसे 11 मार्च तक ईडी की हिरासत में भेज दिया।

अधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जांच एजेंसी को कुछ ऐसे दस्तावेज भी मिले हैं जो बताते हैं कि कपूर परिवार के लंदन में कुछ संपत्ति हैं। अब उस संपत्ति की खरीद के लिए इस्तेमाल हुए कोष के स्रोत की जांच की जा रही है। ईडी एक कंपनी द्वारा कथित रूप से प्राप्त 600 करोड़ रुपए के कोष के मामले में कपूर‚ उनकी पत्नी तथा तीन बेटियों के खिलाफ जांच कर रहा है। जिस कंपनी को यह राशि मिली‚ उसका नियंत्रण कथित रूप से उनके द्वारा नियंत्रित थी। कंपनी को यह राशि दीवान हाउसिंग फाइनेंस लि. (डीएचएफएल) से जुडी इकाई से मिली थी।

कपूर से जुड़ी कंपनी डीओआईटी अरबन वेंचर्स (इंडिया) प्राइवेट लि. कथित रूप से यह कोष प्राप्त किया। यह कोष उस समय प्राप्त किया गया जब तीन हजार करोड़ रुपए से अधिक का कर्ज डीएचएफएल को दिया गया था। डीएचएफएल के खिलाफ कथित वित्तीय अनियमिततताओं को लेकर जांच जारी है।

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सूत्रों के अनुसार बैंक (YES BANK) ने फंसे कर्ज (एनपीए) की वसूली को लेकर कोई कार्रवाई नहीं की। एजेंसी को संदेह है कि 6 सौ करोड़़ रुपए का कोष कथित रिश्वत का हिस्सा हो सकता है। यह राशि एक–दूसरे को लाभ पहुंचाने के लिए उस कंपनी को मिली जिसका नियंत्रण कपूर परिवार के पास था।

जांच के दौरान परिवार द्वारा दो हजार करोड़ रुपए का निवेश तथा एक दर्जन से अधिक मुखौटा कंपनियों के बारे में जानकारी मिली। इन मुखौटा कंपनियों का उपयोग कथित रिश्वत की हेराफेरी के लिए किया जाता था। इसके अलावा परिवार के पास 44 महंगी पेंटिंग भी मिले। इनमें से कुछ पेंटिंग कथित तौर पर राजनेताओं से खरीदी गई।

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p style=”text-align: justify;”>सीबीआई ने यस बैंक (YES BANK) के संस्थापक राणा कपूर‚ दीवान हाउसिंग (डीएचएफएल)‚ ड़ीओआईटी अर्बन वेंचर्स कंपनी और डीएचएफएल के प्रवर्तक निदेशक कपिल वधावन के खिलाफ आपराधिक षड़यंत्र‚ धोखाधड़ी और भ्रष्टाचार के आरोप में प्राथमिकी दर्ज की है।