छत्तीसगढ़: दंतेवाड़ा में 4 नक्सलियों ने किया सरेंडर, अब तक 408 नक्सली कर चुके हैं आत्मसमर्पण

छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के दंतेवाड़ा (Dantewada) जिले में ‘लोन वर्राटू अभियान’ से प्रभावित होकर चार नक्सलियों ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण (Naxalites Surrender) कर दिया है।

Naxalites Surrender

दंतेवाड़ा (Dantewada) जिले में 'लोन वर्राटू अभियान' से प्रभावित होकर चार नक्सलियों ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण (Naxalites Surrender) कर दिया है।

दंतेवाड़ा (Dantewada) जिले में लगातार नक्सलियों का सरेंडर (Naxalites Surrender) हो रहा है। संगठन की विचारधारा से तंग आकर नक्सली मुख्यधारा से जुड़ रहे हैं।

छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के दंतेवाड़ा (Dantewada) जिले में ‘लोन वर्राटू अभियान’ से प्रभावित होकर चार नक्सलियों ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण (Naxalites Surrender) कर दिया है। इन चार नक्सलियों ने खोखली विचारधारा से तंग आकर मुख्यधारा में वापस लौटने का फैसला किया है। बता दें कि ‘लोन वर्राटू अभियान’ के तहत अब तक 108 इनामी सहित कुल 408 नक्सलियों आत्मसमर्पण कर चुके हैं।

गौरतलब है कि जिले में लगातार नक्सलियों का सरेंडर (Naxalites Surrender) हो रहा है। संगठन की विचारधारा से तंग आकर नक्सली मुख्यधारा से जुड़ रहे हैं। इसमें सरकार और प्रशासन की ओर से भी उन्हें पूरी मदद मिल रही है।

भाकपा माओवादी ने 10 लाख के इनामी नक्सली महाराज प्रमाणिक को संगठन से निकाला, कर सकता है सरेंडर

बता दें कि इससे पहले रक्षाबंधन के मौके पर जिले में एक बहन के कहने पर 8 लाख के इनामी नक्सली ने सरेंडर कर दिया और समाज की मुख्यधारा में शामिल होकर बहन से पहली बार राखी बंधवाई।

सरेंडर कर चुके नक्सली महेश ने बताया कि हर रक्षाबंधन पर बहन की इच्छा होती थी कि मैं घर जाऊं लेकिन नक्सली संगठन रक्षाबंधन का त्यौहार नहीं मनाने देते थे।

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नक्सली (Naxalites) कहते थे कि ये साम्राज्यवादी त्यौहार है और हम आदिवासी लोग ये त्यौहार नहीं मनाते हैं। ऐसे में पहली बार ऐसा हुआ है कि मेरी बहन ने मुझे राखी बांधी।

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