Chhattisgarh: बस्तर में विकास ने पकड़ी रफ्तार, नक्सल प्रभावित संभाग में खोले जाएंगे 5 स्टील प्लांट

छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के नक्सल गढ़ बस्तर (Bastar) में विकास की रफ्तार तेज हो रही है। धुर नक्सल प्रभावित इस संभाग में पांच बड़े स्टील प्लांट खोले जाएंगे। दंतेवाड़ा के सरपंच संघ की मांग पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने इसकी मंजूरी दे दी है।

Bastar

फाइल फोटो।

नक्सल गढ़ बस्तर (Bastar) के दंतेवाड़ा, कांकेर, कोंडागांव सहित अन्य स्थानों में बड़े प्लांट लगने से स्थानीय युवाओं को रोजगार मिलेगा।

छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के नक्सल गढ़ बस्तर (Bastar) में विकास की रफ्तार तेज हो रही है। धुर नक्सल प्रभावित इस संभाग में पांच बड़े स्टील प्लांट खोले जाएंगे। दंतेवाड़ा के सरपंच संघ की मांग पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने इसकी मंजूरी दे दी है। इस इलाके में प्लांट के लग जाने से स्थानीय युवाओं को रोजगार के बेहतर अवसर मिलेंगे।

दंतेवाड़ा जिले के सरपंच संघ के प्रतिनिधि मंडल ने 21 अक्टूबर को राजधानी रायपुर में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) से उनके निवास कार्यालय में मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल से मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि शहीद महेंद्र कर्मा की भी इच्छा थी कि दंतेवाड़ा सहित बस्तर अंचल में बड़े उद्योग लगें। अब उनकी इच्छा को ध्यान में रख कर बस्तर का विकास किया जाएगा।

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प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री से गीदम विकासखंड के घोटपाल-हीरानार में उपलब्ध लगभग 500 एकड़ जमीन में उद्योग लगाने के संबंध में ज्ञापन सौंपा। उन्होंने बताया कि इसके लिए किसानों से जमीन लेने की आवश्यक्ता भी नहीं होगी। प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि बस्तर (Bastar) अंचल से लौह अयस्क बाहर भेजा जाता है।

इस संभाग के दंतेवाड़ा, कांकेर, कोंडागांव सहित अन्य स्थानों में बड़े प्लांट लगने से स्थानीय युवाओं को रोजगार मिलेगा। वहीं अन्य सहायक उद्योग धंधे भी शुरू होंगे। प्लांट लगने से यहां होटल और परिवहन व्यवसाय में भी बढ़ोतरी होगी, जिसका फायदा स्थानीय लोगों को मिलेगा।

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सरपचों ने राज्य सरकार द्वारा आदिवासी समाज की आस्था के अनुरूप वनांचल क्षेत्रों में देवगुड़ी के संरक्षण और संवर्धन के लिए किए जा रहे प्रयासों को सराहा। सरपंच संघ के अध्यक्ष अनिल कर्मा के अनुसार, जिले के सभी ग्राम पंचायतों में गोठान निर्माण का कार्य चल रहा है। साथ ही गोधन न्याय योजना के अंतर्गत गोबर खरीदी और वर्मी कम्पोस्ट बनाने का कार्य भी शुरू कर दिया गया है।

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