
Lawaypora Encounter: आईजीपी ने कहा कि उन युवकों के माता-पिता अभी भी इस बात को मानने के लिए तैयार नहीं हैं कि उनके बच्चे आतंकी थे। इसलिए उन्होंने घाटी के लोगों को काली पट्टियां बांधकर विरोध जाहिर करने के लिए कहा। जबकि अब तक की जांच में ये साबित हो चुका है कि तीनों युवक आतंकियों के संपर्क में थे।
श्रीनगर: लावेपोरा मुठभेड़ (Lawaypora Encounter) मामले में आइजीपी कश्मीर रेंज विजय कुमार का बड़ा बयान सामने आया है। उन्होंने कहा है कि लावेपोरा मुठभेड़ में मारे गए तीनों युवक आतंकवादी ही थे। तीनों युवकों के आतंकी संगठनों के साथ संबंध के ठोस सबूत जल्द उनके माता-पिता को सौंपे जाएंगे।
बता दें कि इन तीनों मृतक युवकों के परिजनों ने इस एनकाउंटर पर कई सवाल उठाए थे और युवकों को बेगुनाह बताया था।
आईजीपी ने कहा कि आतंकियों के शव उनके परिजनों को सौंपा जाना इसलिए संभव नहीं है क्योंकि ये कोरोना महामारी का समय है। अगर उनके शव परिजनों को सौंपे जाते तो हजारों की संख्या में लोग उनकी यात्रा में जुटते, यह कोविड प्रोटोकॉल के खिलाफ होगा।
आईजीपी ने कहा कि उन युवकों के माता-पिता अभी भी इस बात को मानने के लिए तैयार नहीं हैं कि उनके बच्चे आतंकी थे। इसलिए उन्होंने घाटी के लोगों को काली पट्टियां बांधकर विरोध जाहिर करने के लिए कहा। जबकि अब तक की जांच में ये साबित हो चुका है कि तीनों युवक आतंकियों के संपर्क में थे।
आईजीपी ने कहा, हम और सबूत जमा कर रहे हैं, सारे सबूत मिलने के बाद हम उनके माता-पिता को ये दिखाएंगे। मुठभेड़ में जो युवक मारे गए, वे काफी समय से आतंकियों की मदद कर रहे थे।
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