Kandahar Plane Hijack: जब यात्रियों की जान बचाने के लिए भारत सरकार को छोड़ने पड़े थे 3 आतंकी, जानें कहां हैं वो तीनों

कंधार विमान हाईजैक (Kandhar Plane Hijack) मामले को 21 साल हो चुके हैं। तारीख थी 24 दिसंबर, 1999। काठमांडू से दिल्ली के लिए उड़े इंडियन एयरलाइंस के विमान की फ्लाइट नंबर आईसी 814 को हथियारबंद आतंकवादियों ने हाइजैक कर लिया था।

Kandahar Plane Hijack

फाइल फोटो।

कंधार विमान हाईजैक (Kandahar Plane Hijack) मामले में सीबीआई (CBI) ने दस लोगों को आरोपी बनाया था। इनमें से सात के बारे में माना जाता है कि वो पाकिस्तान में हैं।

कंधार विमान हाईजैक (Kandahar Plane Hijack) मामले को आज 21 साल हो चुके हैं। तारीख थी 24 दिसंबर, 1999। काठमांडू से दिल्ली के लिए उड़े इंडियन एयरलाइंस के विमान की फ्लाइट नंबर आईसी 814 को हथियारबंद आतंकवादियों ने हाइजैक कर लिया था। विमान पर कुल 180 लोग सवार थे। विमान में ज्यादातर यात्री भारतीय ही थे। इनके अलावा ऑस्ट्रेलिया, बेल्जियम, कनाडा, फ्रांस, इटली, जापान, स्पेन और अमेरिका के नागरिक भी इससे सफर कर रहे थे।

यात्रियों की जान बचाने के लिए भारतीय सरकार ने आतंकी मसूद अजहर, उमर शेख और मुश्ताक अहमद को छोड़ा था। इंडियन एयरलाइंस के प्लेन को दिल्ली काठमांडू के रास्ते में हाईजैक किया गया था। हाईजैक के बाद आतंकी इसे काठमांडू से अमृतसर और लाहौर के बाद अफगानिस्तान के कंधार ले गए थे। 

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कंधार विमान हाईजैक (Kandahar Plane Hijack) मामले में सीबीआई ने दस लोगों को आरोपी बनाया था। इनमें से सात के बारे में माना जाता है कि वो पाकिस्तान में हैं। इनमें पांच अपहरणकर्ता भी शामिल हैं। आज इस घटना के 21 साल हो चुके हैं। जानें आज वो 3 आतंकी कहां हैं, जिन्हें भारत सरकार ने छोड़ा था?

मसूद अजहर

भारत के कब्जे से छूटने के बाद मसूद अजहर ने पाकिस्तान में आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद का गठन किया और उसे मजबूत करने लगा। मसूद अजहर ने उसके बाद भारत पर सबसे ज्यादा आतंकी हमलों को अंजाम दिया, जिसमेंभारतीय संसद पर हमला, मुंबई हमला, पठानकोट एयरबेस हमला और पुलवामा हमला शामिल है। यूनाइटेड नेशंस ने अजहर को अंतरराष्ट्रीय आतंकी घोषित किया है। वर्तमान में मसूद अजहर किडनी की गंभीर बीमारी से जूझ रहा है।

उमर शेख

उमर शेख नाम का आंतकी सबसे ज्यादा कुख्यात 2002 में वॉल स्ट्रीट जर्नल के पत्रकार डेनियल पर्ल की हत्या को लेकर हुआ। आरोप लगाया जाता है कि उसी ने डेनियल पर्ल को फंसाकर बुलाया था। इस मामले में उसे और उसके साथियों को फांसी की सजा भी सुनाई गई थी लेकिन पाकिस्तान की सिंध हाईकोर्ट ने इसी साल सभी को बरी कर दिया था। हालांकि इनको बरी किए जाने के खिलाफ पर्ल के परिवार की तरफ से सुप्रीम कोर्ट में अपील की गई है, जिस पर सुनवाई चल रही है।

मुश्ताक अहमद जरगर

छोड़े जाने के बाद मुश्ताक अहमद जरगर ने कश्मीर में कई ग्रेनेड हमले करवाए हैं। साल 2019, फरवरी में सीआरपीएफ (CRPF) के जवानों पर हुए आतंकी हमलों के पीछे उसका भी हाथ था। मुश्ताक मूल रूप से कश्मीर का ही रहने वाला है। मसूद अजहर का करीबी माना जाने वाले मुश्ताक पर दर्जनों लोगों की हत्या का इल्जाम है।

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