Jharkhand: मौका मिलते ही हमले की फिराक में हैं नक्सली, खुफिया रिपोर्ट में खुलासा

इस बार नक्सली झारखंड (Jharkhand) विधानसभा चुनाव में खलल डालने की पूरी कोशिश कर सकते हैं। मौका मिलते ही वे हिंसक घटना को अंजाम देने की फिराक में हैं।

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इस बार नक्सली झारखंड (Jharkhand) विधानसभा चुनाव में खलल डालने की पूरी कोशिश कर सकते हैं।

इस बार नक्सली झारखंड (Jharkhand) विधानसभा चुनाव में खलल डालने की पूरी कोशिश कर सकते हैं। मौका मिलते ही वे हिंसक घटना को अंजाम देने की फिराक में हैं। जैसे-जैसे चुनाव करीब आ रहे हैं, बिहार-झारखंड के सीमावर्ती इलाकों में नक्सलियों की सक्रियता बढ़ रही है। एक खुफिया रिपोर्ट में यह बात कही गई है।

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सांकेतिक तस्वीर।

इस तरह की खुफिया रिपोर्ट मिलने पर बिहार के बांका जिले के एसपी ने जमुई स्थित एसएसबी के कमांडेंट को पत्र लिखा है, जिसमें नक्सलियों के खिलाफ अभियान चलाने की बात कही गई है। पत्र में बताया गया है कि झारखंड (Jharkhand) चुनाव के दौरान वीआईपी नेताओं के भ्रमण पर नक्सलियों की नजर है। इस बात की भी आशंका व्यक्त की गई है कि कच्ची सड़क पर वे लैंड माइंस बिछा सकते हैं। ऐसे में कच्ची सड़क पर सुरक्षाकर्मियों को पैदल ही चलने की सलाह दी गई है। सुरक्षाकर्मियों के एक जगह से दूसरे जगह जाने और जवानों की अन्य गतिविधियों पर भी नक्सली नजर बनाए हुए हैं। ऐसे में सतर्कता के साथ कार्रवाई की बात कही गई है।

झारखंड (Jharkhand) चुनाव में व्यवधान उत्पन्न करने की आशंका को देखते हुए बांका-दुमका के सीमावर्ती इलाके में पुलिस और सुरक्षा बल अभियान चलाएंगे। बिहार और झारखंड (Jharkhand) पुलिस संयुक्त रूप से इस अभियान में शामिल होगी। जिन इलाकों में ऑपरेशन को अंजाम दिए जाने हैं उनमें शक्तिनगर, लीलावरण, दुमरिया, कोल्हाडीह, सहसराम आदि इलाके शामिल हैं। इन इलाकों में नक्सलियों और उनके सहयोगियों की गतिविधियों पर विशेष नजर रखी जाएगी। हाल के महीनों में झारखंड (Jharkhand) से लगे कई जिलों के अलावा अन्य नक्सल प्रभावित जिलों में कई नक्सली कमांडर सक्रिय देखे गए हैं।

नक्सली कमांडर प्रवेश दा, पिंटू राणा, सिद्धू कोड़ा और अर्जुन कोड़ा सहित अन्य नक्सली कमांडर को जमुई, लखीसराय, बांका और मुंगेर आदि जिलों में देखा गया है। बांका के एसपी अरविंद गुप्ता के मुताबिक, ‘चुनाव को लेकर दोनों राज्यों के अधिकारियों की बैठक हुई है। नक्सलियों की गतिविधियों को लेकर इनपुट मिलते रहते हैं और अभियान भी जारी रहता है। चुनाव है इसलिए विशेष ध्यान दिया जा रहा है। उनकी मौजूदगी की सूचना पर कार्रवाई भी हो रही है।’

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