नहीं देने होंगे पुराने दस्तावेज, गवाही से भी साबित हो सकेगी नागरिकता

Citizenship

गृह मंत्रालय ने कहा कि किसी भी भारतीय को उसके माता-पिता या दादा-दादी के 1971 से पहले के जन्म प्रमाणपत्र जैसे दस्तावेज दिखाकर नागरिकता (Citizenship) साबित करने के लिए नहीं कहा जाएगा। इसके साथ ही उन्हें न ही परेशान किया जाएगा या मुश्किलों में डाला जाएगा।

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नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ पूरे देश में फैले उन्माद को शांत करने के लिए भारत सरकार लगातार प्रयासरत है। सीएए पर जानकारी के अभाव का फायदा देश की राजनीतिक पार्टियां लेने की कोशिश कर रही हैं। देश विरोधी ताकतें लगातार भोली-भाली जनता को बरगलाकर समूचे राष्ट्र को हिंसा की आग में झोक दिया है। ऐसे में सरकार लोगों को जागरूक करने की पूरजोर कोशिश कर रही है। इसी कड़ी  में भारत सरकार के गृहमंत्रालय ने ये साफ किया कि देश के नागरिकों को नागरिकता (Citizenship) साबित कर ने के लिए किसी पुराने दस्तावेज की जरूरत नहीं है।

अपने ट्वीटों में गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि बिना किसी दस्तावेज वाले निरक्षर नागरिकों को गवाह या समुदाय के सदस्यों से समर्थित सबूतों को पेश करने की अनुमति होगी। प्रवक्ता ने कहा, भारत की नागरिकता (Citizenship) जन्मतिथि या जन्मस्थान या दोनों से संबंधित कोई दस्तावेज पेश कर साबित की जा सकती है। ऐसी सूची में ढेर सारे आम दस्तावेज होने की संभावना है ताकि कोई भी भारतीय नाहक परेशान न हो या वह मुश्किलों में नहीं आए। गृह मंत्रालय इस संबंध में सुनिर्धारित प्रक्रिया जारी करेगा। प्रवक्ता ने कहा, भारतीय नागरिकों को 1971 से पहले का अपने माता-पिता/दादा-दादी के पहचान पत्र, जन्म प्रमाणपत्र जैसे दस्तावेजों को पेश कर अपने पुरखों को साबित नहीं करना होगा।

1 जुलाई, 1987 से पहले जन्मे लोग या जिनके माता-पिता उससे पहले जन्मे हों, वे भारतीय नागरिक

सरकार के एक आला अधिकारी ने शुक्रवार को कहा कि जिस किसी का जन्म भारत में एक जुलाई, 1987 से पहले हुआ हो या जिनके माता-पिता का जन्म उस तारीख से पहले हुआ हो, वे कानून के अनुसार भारत के वास्तविक नागरिक हैं और उन्हें नागरिकता संशोधन अधिनियम या संभावित एनआरसी से चिंता करने की जरूरत नहीं है। नागरिकता कानून में 2004 में किए गए संशोधनों के अनुसार असम को छोड़कर बाकी देश के उन नागरिकों को भी भारतीय नागरिक माना जाएगा जिनके माता या पिता भारतीय हैं और अवैध प्रवासी नहीं हैं।

इतिहास में आज का दिन – 21 दिसंबर

गवाही पर भी साबित हो सकेगी नागरिकता

नागरिकता (Citizenship) पर हो रहे देशव्यापी विरोध प्रदर्शनों के बीच सरकार ने साफ किया कि दस्तावेज नहीं होने की दशा में गवाहों के आधार पर भी भारतीय नागरिकता सिद्ध की जा सकेगी। गृह मंत्रालय ने कहा कि यदि किसी नागरिक के पास भारतीय नागरिकता सिद्ध करने के लिए कोई दस्तावेज नहीं होगा तो उसे उसके समुदाय के गवाहों तथा स्थानीय दस्तावेजों के आधार पर नागरिकता (Citizenship) दे दी जाएगी।

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