
कांकेर में आरएसएस कार्यकर्ता की हत्या के बाद राजनांदगांव के सांसद संतोष पांडेय को 5 सितंबर को नक्सलियों ने एक धमकी भरा पत्र भेजा है।
छत्तीसगढ़ में आम लोगों में दहशत फैलाने के साथ ही नक्सली अब प्रदेश के नेताओं को अपना निशाना बना रहे हैं। कांकेर में आरएसएस कार्यकर्ता की हत्या के बाद राजनांदगांव के सांसद संतोष पांडेय को 5 सितंबर को नक्सलियों ने एक धमकी भरा पत्र भेजा है। जानकारी के मुताबिक, पत्र में नक्सलियों ने संतोष पांडेय को जान से मारने की धमकी दी है। साथ ही इस पत्र में आरएसएस प्रमुख का भी जिक्र किया गया है। हालांकि यह पत्र एक महीने पहले का लिखा हुआ बताया जा रहा है। लेकिन सांसद पांडेय को यह पत्र 5 सितंबर को मिला है। यह पत्र कवर्धा जिले के बोडला संघम कमेटी द्वारा लिखा गया है।
नक्सलियों ने इस पत्र में सांसद संतोष पांडेय को धमकी देते हुए लिखा है कि आप आदिवासियों से दूर रहें वरना आपकी हत्या कर दी जाएगी। विकास की बात आप शहरों में जाकर करें। दोबारा कवर्धा के जंगल में आदिवासियों से मुलाकात करते हुए दिखाई दिए तो आपकी हत्या कर दी जाएगी। आपकी लाश आरएसएस वाले भी नहीं खोज पाएंगे। संतोष पांडे को नक्सलियों से जान से मारने की धमकी मिलने के बाद सुरक्षा की मांग की है। उन्होंने कहा कि आज नक्सली बौखलाए हुए हैं। जंगल जाने से रोक रहे हैं, हिन्दुत्व को बढ़ने से रोकने का प्रयास कर रहे हैं। गौरतलब है कि नक्सली केन्द्र सरकार द्वारा जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने का विरोध कर रहे हैं और इसलिए वे भाजपा और संघ के खिलाफ हैं। संतोष पांडे ने मामले की जानकारी संघ प्रमुख और आला अधिकारियों को दे दी है।
यह पहली बार नहीं है जब नक्सलियों ने राज्य के नेताओं को धमकी दी है। इससे पहले, बड़गांव में नक्सलियों ने 4 सितंबर की रात पर्चे फेंक कर भाजपा और आरएसएस नेताओं को चेतावनी दी थी। हालांकि, उनके इस पर्चे में इलाके के किसी भाजपा नेता या आरएसएस कार्यकर्ता के नाम का उल्लेख नहीं किया गया था। लेकिन इसे लेकर इलाके में दहशत का माहौल है। सूचना मिलने पर पुलिस ने उक्त पर्चों को जब्त कर लिया। जानकारी के मुताबिक, बड़गांव के मटन मार्केट में नक्सलियों ने ये प्रिंटेड पर्चे फेंके थे। ये पर्चे उत्तर बस्तर डिविजन कमेटी की ओर से फेंके गए थे।
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