सच के सिपाही

राजस्थान के झुंझुनूं जिले के बिशनपुरा गांव के 'वीर चक्र' विजेता शहीद शीशराम गिल की बहादुरी की मिसाल आज भी पेश की जाती है। 1999 में भारत और पाकिस्तान के बीच लड़े गए कारगिल युद्ध (Kargil War) में उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1999 में कारगिल युद्ध (Kargil War) लड़ा गया था। भारतीय सेना (Indian Army) के लिए इस युद्ध में कई चुनौतियां थीं, जबकि पाकिस्तान ऊंचाई पर होने के कारण काफी फायदे में था।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1999 में लड़े गए कारगिल युद्ध (Kargil War) में राजस्थान के सीकर के रहने वाले रिटायर्ड फौजी दिगेंद्र सिंह ने अहम भूमिका निभाई थी। उन्होंने पांच गोली खाने के बावजूद दुश्मनों का डटकर सामना किया था।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 में बांग्लादेश की आजादी के लिए युद्ध लड़ा गया था। युद्ध में भारत की जीत हुई थी और दुनिया के नक्शे पर पाकिस्तान से अलग होकर बांग्लादेश उभरकर आया था।

1971 India-Pakistan War: लोंगेवाला की लड़ाई का असल 'हीरो' रिटायर्ड ब्रिगेडियर कुलदीप सिंह चांदपुरी को माना जाता है। 17 नवंबर 2018 को उनका निधन हो गया था।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 में लड़े गए युद्ध में सेना के जवानों ने ऐसा कहर बरपाया था, जिसे याद कर दुश्मन आज भी कांप उठते होंगे। इस युद्ध में शरीर में गोली लगने और बुरी तरह से घायल होने के बाद भी कई जवानों ने अपनी आखिरी सांस और दर्द के साथ दुश्मनों को छलनी किया था

भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 में लड़े गए भीषण युद्ध में भारतीय सेना (Indian Army) ने पाकिस्तानी सैनिकों को भगा-भगाकर मारा था। इस युद्ध में हमारे जवानों ने ऐसा पराक्रम दिखाया था, जिसकी मिसाल दी जाती है।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1999 में लड़े गए कारगिल युद्ध (Kargil War) में देश के जवानों ने अपनी जान की बाजी लगाकर भारत मां की रक्षा की थी। हमारे देश के जवान भारतीय सरहद की रक्षा के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं।

भारत और पाकिस्तान के बीच साल 1999 में लड़े गए कारगिल युद्ध (Kargil War) में वायुसेना (Indian Air Force) दुश्मनों पर कहर बनकर टूटी थी। हमारी वायुसेना और उनके घातक लड़ाकू जहाजों ने पाकिस्तानी सैनिकों को दिन में तारे दिखा दिए थे।

भारतीय सेना (Indian Army)  के जवान भारत मां की रक्षा के लिए किसी भी हद तक गुजर सकते हैं। ऐसा एक नहीं बल्कि कई मौकों पर देखने को मिल चुका है। सेना के जवान हर हाल में अपने देश की रक्षा के लिए तत्पर रहते हैं।

Kargil War: 8 नवंबर, 1960 को एक किसान परिवार में जन्में लक्ष्मण सिंह अपने गांव में मकान बनवा रहे थे तभी पाकिस्तान और भारत के बीच युद्ध छिड़ गया था।

भारत और पाकिस्तान के बीच साल 1971 में भीषण युद्ध लड़ा गया था। बांग्लादेश की आजादी के लिए लड़े गए इस युद्ध में भारतीय सेना (Indian Army) ने पाकिस्तानी सेना को धूल चटा दिया था।

भारत और पाकिस्तान के बीच साल 1999 में भीषण कारगिल युद्ध (Kargil War) लड़ा गया था। इस युद्ध में हमारे वीर सपूतों ने दुश्मनों को  बुरी तरह से हराया था। पाक ने एलओसी (LoC) पर धोखे से कारिगल के महत्वूपर्ण इलाकों पर कब्जा कर लिया था।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 में युद्ध लड़ा गया था। इस युद्ध में पाकिस्तान को बुरी हार का सामना करना पड़ा था। पाकिस्तान को हराकर भारत इस युद्ध की बदौलत पहली बार वैश्विक ताकत बनकर उभरा था।

War of 1971: युद्ध में शामिल होने वाले सेवानिवृत्त कै. भूपाल सिंह गढ़िया और हवलदार जगत सिंह खेतवाल ने युद्ध के दिनों को याद करते हुए कई बातें साझा की है।

भारतीय सेना (Indian Army) के गोपनीय रेजिमेंट के लिए काम करने वाले कई तिब्बती सैनिकों ने अपना बलिदान दिया है। भारत के स्पेशल फ्रंटियर फोर्स (एसएफएफ) के कमांडो नीमा तेंजिन (Nyima Tenzin) उनमें से एक थे।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1965 में लड़े गए युद्ध (War of 1965) के पीछे की कई वजहें बताई जाती हैं। भारतीय सेना (Indian Army) ने इस युद्ध में पाकिस्तान को बुरी तरह से हराया था।

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