
27 फरवरी को बड़गाम में भारतीय वायुसेना के एमआई-17 विमान क्रैश में विंग कमांडर पंकज सिंह और विशाल पांडेय शहीद
27 फरवरी को बड़गाम में भारतीय वायुसेना के एमआई-17 विमान क्रैश में 6 जवान शहीद हो गए थे। शहीद होने वाले जवानों में मथुरा जिले के रहने वाले विंग कमांडर पंकज सिंह और बनारस के लाल विशाल पांडेय भी शामिल हैं। शहीद पंकज सिंह एयरफोर्स के मेंटीनेंस डिपार्टमेंट में विंग कमांडर के पद पर तैनात थे। इन्होंने आज से लगभग सात वर्ष पूर्व 2012 में एयरफोर्स ज्वाइन किया था। पंकज जनवरी में छुट्टी मनाने घर आए थे फिर 2 फरवरी को वापस ड्यूटी ज़ॉईन कर लिया था।
शहीद पंकज सिंह की शादी वर्ष 2015 में हुई थी। पंकज का एक डेढ़ साल का बेटा भी है। शहादत के एक दिन पूर्व आखिरी बार पंकज की अपने माता-पिता और पत्नी से बात हुई थी। पंकज के शहीद होने की खबर मिलते ही परिवार के साथ मथुरा के बालाजी पुरम के सारंग बिहार स्थित आवास पर गमगीन माहौल में तब्दील हो गया। घर पर शहीद के परिजनों को सांत्वना देने के लिए लोग जुट गए। शहीद पंकज के पिता रिटायर्ड सूबेदार हैं। पिता नोहबत सिंह को अपने बेटे पंकज की शहादत पर गर्व है। बेटे की शहादत पर नोहबत सिंह ने कहा, मैंने 30 साल सेना में रहकर देश की सेवा की है, बेटे की शहादत पर आज मुझे गर्व है।
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इस विमान हादसे में बनारस के निवासी विशाल पांडेय भी शहीद हो गए। विशाल का परिवार बनारस शहर से करीब 10 किमी दूर कुरुहुआ गांव में रहता था। पर अभी कुछ साल पहले ही इनका परिवार शहर में शिफ्ट हुआ है। विशाल ने शादी होने के पश्चात चौकाघाट स्थित यादव बस्ती में मकान खरीदा था। विशाल के माता-पिता परिवार के अन्य सदस्यों के साथ नए आवास में रहते हैं, जबकि विशाल अपनी पत्नी माधवी और दो बच्चों के साथ श्रीनगर में रहते थे। विशाल का सात साल का एक बेटा विशेष और पांच साल की बेटी धारा हैं। शहादत की खबर सुनते ही घर पर शुभचितंकों और रिश्तेदारों का तांता लग गया। परिवार वालों के सर पर जैसे मुसीबतों का आसमान टूट पड़ा। बेटे के शहादत का गम है तो वहीं देश के लिए कुर्बानी पर फख्र भी है।
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