Army के जवानों को मिलते हैं एक से बढ़कर एक बेहतर साजो सामान, मुश्किल हालातों में आते हैं काम

भारतीय सेना (Indian Army) को बीते कुछ सालों में एडवांस बनाने की दिशा में काम किया गया है। जवानों को एक से बढ़कर एक बेहतर साजो-सामान मिले, इसके लिए समय-समय पर अपग्रेडेशन की जाती है।

terrorists

सांकेतिक तस्वीर

Army: जब बिल्कुल भी रोशनी नहीं होती है तो यह थर्मल इमेजिंग सेंसर के जरिए दुश्मनों को डिटेक्ट करने में मदद करता है। रात में भी इसके जरिए आसानी से डिटेक्शन संभव है।

भारतीय सेना (Indian Army) को बीते कुछ सालों में एडवांस बनाने की दिशा में काम किया गया है। जवानों को एक से बढ़कर एक बेहतर साजो-सामान मिले, इसके लिए समय-समय पर अपग्रेडेशन की जाती है। जवानों को रात में सीमा पर अंधेरे में किसी तरह की दिक्कत न हो इसके लिए अलग-अलग उपकरणों का इस्तेमाल होता है।

आर्मी (Army) के जवान रात में भी दुश्मन पर नजर बनाए रख सकें इसके लिए थर्मल इमेजर का इस्तेमाल किया जाता है। बेहद अंधेरे वाली रात में भी इसके जरिए आसानी से डिटेक्शन संभव है। जब बिल्कुल भी रोशनी नहीं होती है तो यह थर्मल इमेजिंग सेंसर के जरिए दुश्मनों को डिडेक्ट करने में मदद करता है।

गृहमंत्री अमित शाह ने CRPF के इतिहास पर लिखी किताब ‘नेशन फर्स्ट: द हिस्ट्री ऑफ सीआरपीएफ’ का विमोचन किया, देखें PHOTOS

इसको एक ट्राई पॉड में रखा जाता है और इसमें अलग-अलग तरह के लेंस लगे होते हैं। इनके अलावा जवान नाइट विजिन डिवाइस का भी इस्तेमाल करते हैं। इसके जरिए भी आसानी से रात में दुश्मनों पर नजर रखी जाती है। यह एक ऑप्टो-इलैक्ट्रोनिक डिवाइस है जिसके जरिए जवान दुश्मनों पर रात में भी नजर रख सकते हैं।

ये भी देखें-

एक जवान के पास आमतौर पर  एक राइफल एके-47, अतिरिक्त मैगजिन, एक 9 एमएम पिस्टल, हैंड ग्रेनेड 4, खुखरी, स्विस चाकू, नाइट विजन डिवाइस, वॉकी-टॉकी, बुलेट फ्रूफ जैकेट और बैलिस्टिक हेलमेट होता है। जवानों को खुद की हिफाजत और साजो-सामान रखने के लिए पिट्ठू बैग दिया जाता है। जवानों को बेहद ही खास किस्म के जूते भी दिए जाते हैं।

Hindi News के लिए हमारे साथ फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम, यूट्यूब पर जुड़ें और डाउनलोड करें Hindi News App

यह भी पढ़ें