टेरर फंडिंग पर रोक लगाने के लिए मामले बड़ी कार्रवाई करते हुए केन्द्र सरकार ने हुर्रियत नेताओं की संपत्ति जब्त करने का फैसला किया है। सरकार के आदेश से 11 अलगाववादी नेताओं की संपत्ति जब्त होगी।

बिहार एटीएस को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। एटीएस ने बांग्लादेश के आतंकी संगठन जमीयत-उल-मुजाहिद्दीन और इस्लामिक स्टेट बांग्लादेश (आईएसबीडी) से जुड़े दो आतंकियों को गिरफ्तार किया है।

केंद्र सरकार ने अलगाव‍दी नेता यासीन मलिक के संगठन जम्‍मू कश्‍मीर लिबरेशन फ्रंट (JKLF) पर प्रतिबंध लगा दिया है। अलगाववाद के खिलाफ यह एक बड़ा कदम है। कैबिनेट की सुरक्षा समिति की बैठक में यह फैसला लिया गया।

सीएच-47एफ (आई) चिनूक एडवांस्ड टेक्नोलॉजी से लैस हेलिकॉप्टर है जो भारतीय सशस्त्र बलों को युद्ध और मानवीय मिशन के दौरान रणनीतिक एयरलिफ्ट की क्षमता मुहैया कराएगा।

सोनमती एक प्रशिक्षित नक्सली है। उस पर एक लाख का इनाम भी घोषित था। वह साल 2016 में नक्सली संगठन से जुड़ी।

नक्सलियों की करतूत अब आम लोगों और छोटे स्कूली बच्चों के लिए खतरनाक बन चुकी है।

85 स्टूडेंट्स जिन्होंने गढ़चिरौली के इग्नू स्टडी-सेंटर से कोर्स पूरा किया है, वे महाराष्ट्र में किसी न किसी क्षेत्र में काम कर रहे हैं। इसके अलावा 68 स्टूडेंट्स ने बैचलर ऑफ सोशल-वर्क में डिग्री कोर्स किया है ताकि वे अपने गांवों में जाकर वहां सामाजिक विकास का काम कर सकें।

झारखंड में अपने दहशत के बल पर करोड़ों रुपये की उगाही करने वाले नक्सली अब म्यूचुअल फंड में निवेश कर अपना भविष्य संवारने की कोशिश में लगे हुए हैं। जमीन और फ्लैट में निवेश करने वाले माओवादी नेताओं ने अब म्यूचुअल फंड में भी निवेश करना शुरू कर दिया है।

नक्सल कैडर में 50 फीसदी महिलाएं हैं। वे पितृसत्तात्म समाज की जबरदस्ती थोपी जानेवाली कुरीतियों का विरोध करती हैं। मर्जी के खिलाफ शादी से बचने के लिए वे घर से भाग जाती हैं और माओवादी संगठनों में शामिल हो जाती हैं।

पाकिस्तान के बालाकोट में भारतीय वायुसेना द्वारा एयर स्ट्राइक के बाद अब अब भारत ने पूर्वोत्तर में दुश्मनों के खिलाफ मोर्चेबंदी शुरू कर दी है। इस बार भारत ने म्यांमार में सर्जिकल स्ट्राइक की है।

जम्मू-कश्मीर के शोपियां के वेहिल इलाके में 16 मार्च की दोपहर एक विशेष महिला पुलिस अधिकारी (एसपीओ) की संदिग्ध आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी।

UNSC Ban Masood Azhar: चीन इस बात से भी बखूबी वाकिफ है कि पाकिस्‍तान की कोई भी सरकार यही बनाते हैं और वह इन्‍हीं के इशारे पर काम करती है। पाकिस्‍तान की सरकार सेना के खिलाफ नहीं जा सकती है। ऐसे में चीन किसी भी हाल में इतनी बड़ी रकम पर किसी तरह का कोई रिस्क नहीं लेना चाहता था।

मधि का कहना है कि हम कई महीनों से आत्मसमर्पण करना चाहते थे। लेकिन इसके लिए हमें सही मौके की तलाश थी। हमने अपने साथियों से कहा कि हम कुछ दिनों के लिए गांव जा रहे हैं। चूंकि हम लंबे समय से संगठन से जुड़े हुए थे, इसलिए किसी को भी हम पर शक नहीं हुआ। 

अभाव भऱी जिंदगी होने के बावजूद गरीब परिवार के ये बच्चे बेहतर खिलाड़ी के रूप में निखर रहे हैं। नक्सल प्रभावित क्षेत्र के इस गांव के बच्चे मलखंब जैसे साहसिक खेल में महारत हासिल कर रहे हैं।

नक्सलियों के शहरी नेटवर्क की जिम्मेदारी संभालने वाले दंपति नन्दू उर्फ विवेक और उसकी पत्नी सती उर्फ कमला उर्फ कोमल कुमेंटी ने 13 फरवरी को आईजी रतनलाला डांगी के सामने सरेंडर कर दिया था।

हंगपन दादा की बहादुरी के किस्से सुनकर रोंगटे खड़े हो जाते हैं। उन्होंने सीमा पर घुसपैठ की कोशिश करने वाले चार आतंकवादियों को अकेले मार गिराया और वीरगति को प्राप्त हुए।

नक्सल प्रभावित दंतेवाड़ा का कावड़गांव के युवा पढ़ाई के साथ-साथ खेलों में भी अपनी पहचान बना रहे हैं। खासकर वालीबॉल के लिए तो यहां के युवा ही नहीं 4 साल के बच्चे तक दीवाने हैं।

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